बिहार, एक राज्य जो अपनी विविध सांस्कृतिक धरोहर और ऐतिहासिक महत्व के लिए जाना जाता है, अब पर्यटकों की पहली पसंद बनता जा रहा है। विशेषकर, राजगीर में बना ग्लास ब्रिज और गया में स्थापित भगवान बुद्ध की विशाल मूर्ति ने पर्यटन में एक नई जान फूंक दी है। इन आकर्षणों ने न केवल देशी बल्कि विदेशी पर्यटकों को भी बिहार की ओर आकर्षित किया है।
पिछले वर्षों की तुलना में, बिहार में पर्यटकों की संख्या में एक अभूतपूर्व वृद्धि देखने को मिली है। वर्ष 2023 में, आठ करोड़ से अधिक पर्यटकों ने बिहार का रुख किया, जिनमें लगभग आठ करोड़ 15 लाख देसी पर्यटक और पांच लाख 46 हजार से अधिक विदेशी पर्यटक शामिल थे। यह संख्या पिछले वर्ष के आंकड़ों से कहीं अधिक है, जो बिहार के पर्यटन विभाग के लिए एक बड़ी उपलब्धि है।
राजगीर का ग्लास ब्रिज और गया में स्थापित भगवान बुद्ध की मूर्ति, दोनों ही पर्यटकों के लिए मुख्य आकर्षण बने हुए हैं। राजगीर में ग्लास ब्रिज, जो अपनी अद्वितीय संरचना और सौंदर्य के लिए प्रसिद्ध है, ने देसी पर्यटकों का दिल जीत लिया है। वहीं, गया में भगवान बुद्ध की मूर्ति ने विश्व भर के बौद्ध अनुयायियों और श्रद्धालुओं को आकर्षित किया है।
इस प्रगति से न सिर्फ बिहार का पर्यटन उद्योग फल-फूल रहा है, बल्कि स्थानीय आर्थिक विकास में भी एक महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है। पर्यटकों के बढ़ते प्रवाह से स्थानीय व्यापार और होटल उद्योग को भी बढ़ावा मिला है।
बिहार सरकार और पर्यटन विभाग ने बिहार के पर्यटन क्षेत्र को और अधिक विकसित करने के लिए कई योजनाएं और पहल की हैं। इस प्रयास से न केवल बिहार की प्राचीन धरोहर और संस्कृति को संरक्षित किया जा रहा है, बल्कि यह विश्व स्तर पर बिहार को एक प्रमुख पर्यटन स्थल के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। बिहार के पर्यटन उद्योग में यह नई बहार, निश्चित रूप से राज्य के लिए एक स्वर्णिम भविष्य की ओर इशारा करती है।