यूट्यूबर मनीष कश्यप को 130 दिनों के बाद आज बिहार के बेतिया कोर्ट में पेश किया गया. जहां कोर्ट द्वारा उसके तमिलनाडु भेजने पर रोक लगा दी गई. बता दें कि उसे तमिलनाडु से कड़ी सुरक्षा के बीच बेतिया लाया गया था. बेतिया पहुंचने पर समर्थकों ने मनीष कश्यप का जमकर स्वागत किया. इस दौरान फूल भी बरसाए गए. 

तमिलनाडु के मदुरई जेल में पिछले कई महीनों से बंद मनीष कश्यप पर मझौलिया में स्टेट बैंक के शाखा प्रबंधक से बदसलूकी और सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप लगे हैं. यूट्यूबर मनीष कश्यप के बेतिया पहुंचने की पुष्टि एसडीपीओ महताब आलम ने की है. उन्हें सरकारी कामकाज में बाधा डालने और मारपीट मामले पहली नजर में दोषी पाया गया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, वीडियो के आधार पर ऐसा लगता है कि मनीष कश्यप ने नफरत फैलाने की कोशिश की है.

पुलिस के मुताबिक, मनीष कश्यप आरोप है कि उसने जो वीडियो अपने यूट्यूब पर डाली वह दो राज्यों के बीच नफरत फैलाने वाली है. इसे लेकर मनीष कश्यप पर कानूनी प्रक्रिया के तहत कार्रवाई की गई है. मनीष कश्यप सप्तक्रांति एक्सप्रेस से बिहार पहुंचे हैं. मनीष कश्यप को कड़ी पुलिस सुरक्षा में तमिलनाडु से सप्तक्रांति एक्सप्रेस से मनीष कश्यप बेतिया पहुंचे हैं. इस दौरान उनके चाहने वालों की भीड़ स्टेशन पर जमा थी. जिसे लेकर सुरक्षा के भारी इंतजाम किए गए हैं. 

7 अगस्त को बेतिया व्यवहार न्यायालय में मनीष की पेशी हुई है. बेतिया रेलवे स्टेशन से पुलिस की कड़ी सुरक्षा के बीच मनीष कश्यप को बेतिया एसपी कार्यालय लाया गया. जहां सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे. पेशी के वक्त बेतिया एसपी कार्यालय से मनीष कश्यप को कोर्ट ले जाया गया. पेशी के बाद मनीष के वकील ने मनीष कश्यप को बेतिया जेल में रखने का आग्रह किया जिसका विरोध सरकारी वकील ने किया. फिलहाल सीजेएम ने बेतिया जेल में ही मनीष कश्यप को रखने का आदेश दिया है. 

वहीं एक दूसरे मामले में जुडिशल मजिस्टेट के यहां मनीष कश्यप की आज पेशी होनी है. जिला अभियोजन पदाधिकारी ने कोर्ट में आवेदन दिया. जिसमें पटना चल रहे एक मामले में मनीष कश्यप की पेशी है. जिसपर कोर्ट ने मनीष कश्यप को पटना भेजने का आदेश दिया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मझौलिया थाना कांड संख्या 737/20 में मजिस्ट्रेट के कोर्ट में फिजिकली पेश होना था. चनपटिया बीजेपी विधायक उमाकांत सिंह से मारपीट और रंगदारी के मामले में कोर्ट में मनीष कश्यप की पेशी थी. कोर्ट के बाहर मनीष कश्यप की मां और परिवार के अन्य सदस्य मनीष कश्यप की एक झलक देखने को बेताब थे. लेकिन सुरक्षा वजहों से किसी को भी कोर्ट या एसपी कार्यालय में प्रवेश वर्जित कर दिया गया है.

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