गुंजन सिंह, एक ऐसी प्रतिभाशाली और दृढ़ निश्चयी महिला हैं, जिन्होंने अपने इंजीनियरिंग करियर को छोड़कर सिविल सेवाओं के प्रति अपने जुनून का पीछा किया। उनकी कहानी उन सभी युवाओं के लिए प्रेरणा है जो अपने सपनों की तलाश में हैं।
उत्तर प्रदेश के कानपुर से आने वाली गुंजन ने शुरुआत में जेईई परीक्षा पास करके आईआईटी रुड़की में प्रवेश लिया और इंजीनियर बनने का सपना देखा। लेकिन उनकी जिंदगी ने एक अनोखा मोड़ तब लिया जब वे एक इंटर्नशिप के दौरान गरीब बच्चों की दुर्दशा देख बहुत प्रभावित हुईं। इस अनुभव ने उन्हें सिविल सेवा में जाने के लिए प्रेरित किया ताकि वे इस तरह के समाज के लिए कुछ बेहतर कर सकें।
यूपीएससी का सफर गुंजन के लिए आसान नहीं था। उन्हें शुरुआती दो प्रयासों में असफलता का सामना करना पड़ा, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी। उनके परिवार, विशेषकर उनकी मां, ने उन्हें हमेशा प्रेरित किया। अंततः, तीसरे प्रयास में उन्होंने उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए 16वीं रैंक हासिल की।
गुंजन की अन्य उम्मीदवारों के लिए सलाह है कि यूपीएससी की तैयारी के लिए एक ठोस योजना और रणनीति बहुत आवश्यक है। वे कहती हैं कि बिना योजना के तैयारी में भटकाव हो सकता है। इसके अलावा, उनका मानना है कि साप्ताहिक आत्म-मूल्यांकन से अपनी कमजोरियों को पहचानने में मदद मिलती है। गुंजन की यह कहानी हमें बताती है कि सही मार्गदर्शन, दृढ़ निश्चय, और कठिन परिश्रम के साथ सफलता निश्चित रूप से प्राप्त की जा सकती है।