पटियाला के रहने वाले आईएएस हर्षित नारंग UPSC एस्पिरेंट्स को मुफ्त में कोचिंग देते हैं। इन्वेस्टमेंट बैंकिंग से अपने करियर की शुरुआत करने वाले हर्षित आज पीआईबी चंडीगढ़ के असिस्टेंट डायरेक्टर पद पर हैं।
साल 2018 बैच के आईएएस अधिकारी हर्षित नारंग एक आम युवा की तरह रोजगार की तलाश में थे। इन्वेस्टमेंट बैंकिंग से साल 2010 में करियर की शुरुआत करने वाले हर्षित को यह नौकरी ज्यादा दिन तक पसंद नहीं आई। एक ही साल में उन्होंने नौकरी छोड़ दी। यहाँ तक कि उन्हें भारतीय सेना में जाने का सपना था, लेकिन कॉरपोरेट कल्चर खासा पसंद नहीं आ रहा था।
साल 2012 में एक दिन, उन्होंने दिल्ली के राजेंद्र नगर में जाकर UPSC की तैयारी के लिए कुछ नोट्स खरीदे और घर लौटकर पढ़ाई शुरू कर दी। दो साल की मेहनत के बाद, साल 2014 में उन्होंने पंजाब सिविल सर्विस की परीक्षा पास कर ली और उन्हें कर और आबकारी अधिकारी के तौर पर नियुक्ति मिली।
हर्षित नारंग की इस अनोखी कहानी में साल 2018 में UPSC की परीक्षा पास करने का सफ़र शामिल है। वह देश की सबसे मुश्किल परीक्षा मानी जाने वाली UPSC की परीक्षा को भी पास कर लिया, जोकि उनके लिए एक बड़ी सफलता थी।
पर्याप्त समय ना मिलने के कारण, जो UPSC एस्पिरेंट्स को आवश्यक था, हर्षित ने एक मुफ्त कोचिंग प्रोग्राम आरंभ किया। यह अनूठा पहल UPSC की तैयारी कर रहे युवाओं के लिए एक अच्छा संकेत है।
यह भावनात्मक और प्रेरणादायक कहानी हमें यह दिखाती है कि सफलता के लिए व्यक्तिगत इच्छाशक्ति और सामर्थ्य की जरूरत होती है। यह भी सिद्ध करती है कि यदि कोई व्यक्ति अपने लक्ष्यों के प्रति प्रतिबद्ध हो, तो उसे रास्ता अपने सपनों की प्राप्ति के लिए खुद ही मिल जाता है।
हर्षित नारंग का उदाहरण हमें यह सिखाता है कि समर्पण, संघर्ष और सही मार्ग चुनने के बावजूद किसी भी लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है। उनकी कड़ी मेहनत, संघर्ष और परिश्रम ने उन्हें उन्नति की नई ऊँचाइयों तक पहुंचाया है।